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शनिवार, 8 अगस्त 2020

5 अगस्त 2020 अयोध्याअजोध्या

जय जय पाबन अबध कै जय जय भारत बर्ष। 
मंदिर के निरमान का जन जन मा है हर्ष।। 

कृष्णपक्ष भादव दुइज का दिन सुभ भा बाह।
 जब  पूंछी  इतिहास     ता  देई  वहै   गवाह।। 

सदिअन के बलिदान का आजु मिला तै मान। 
अबधपुरी मा सुरू भा मंदिर का निरमान।। 

केत्तेव पुरखा गुजरिगें लये हिदय मा हूक। 
आजु तृप्त भै आतिमा लउलितिया कै भूख।। 

अपने रीत रिबाज से ओही आबै बास। 
ज्याखर गुरुद्वारा हबै चीनी दूताबास।। 

राम देस के प्रान औ राम राष्ट के गर्व। 
राम ऋचा ऋग्वेद कै साम यजुर्व अथर्व।। 

अब भादों के चउथ का होय दुइज से ईस। 
वा कलंक ढोउत फिरै या सुभ सुदिन रहीस।। 

पुन स्थापित अबध मा राम सहित सब अंस। 
पूरी दुनिया कइ रही जय जय भारत बंस।। 

भले करोना काल है, पै संबत सुभ नीक। 
पूर पांच सै बरिस मा अबध कै भै तस्दीक।। 

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