मुक्तक
तुलसी के बगिया मा नकटी कहां से आय गै।
यतना पचामै कै शक्ती कहाँ से आय गै । ।
गोकरन के सभा मा धुंधकारी कै धाक ही
सत्ता के व्याकरण मा विभक्ति कहाँ से आय गै। ।
हेमराज हंस ----9575287490
नकटी--एक तरह की झाड़ी
बघेली साहित्य -का संग्रह हास्य व्यंग कविता गीत ग़ज़ल दोहा मुक्तक छंद कुंडलिया
कीर्तिमान निश दिन बढ़े, गढ़ें नये सोपान। जन्म दिन की शुभकमना, आये नया बिहान।। आये नया बिहान शारदा के प्रिय लालन । मैहर का हो आपके ...
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