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रविवार, 17 मई 2015

ये भी उसकी काफिआ सी लगती है। ।

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राजनीति माफिआ  सी लगती है। 
ये भी उसकी काफिआ सी लगती है। । 
हेमराज हंस 

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पबरित परसाद भंडासराध कइ रहे हें।।

 जे मंदिर कै हमरे खंडित मरजाद कइ रहे हें।  पबरित   परसाद    भंडासराध   कइ  रहे  हें।।  उनहीं   पकड़  के  सीधे  सूली  मा  टांग  द्या  हमरे  धर...